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काबुल. अफगानिस्तान की राजधानी काबुल में शनिवार को एक गुरुद्वारे में हुए कई विस्फोट के बाद भारत सरकार ने वहां के सिखों को ई-वीज़ा देने का ऐलान किया है. सरकारी सूत्रों के मुताबिक अब तक ऐसे करीब 100 वीज़ा जारी किए जा चुके हैं. बता दें कि पिछले साल भी अगस्त में काबुल पर तालिबान के कब्जे के बाद गृह मंत्रालय ने ई-वीजा जारी किए थे. भारत के लिए ई-वीजा को ऑनलाइन आवेदन के जरिए लिया जा सकता है.

शनिवार को हमले में एक सिख सहित दो लोगों की मौत हो गई और सात अन्य घायल हो गए. वहीं, अफगान सुरक्षाकर्मियों ने विस्फोटक लदे एक गाड़ी को गुरुद्वारे में एंट्री करने से रोककर एक बड़ी घटना को टाल दिया. एसोसिएटेड प्रेस ने गृह मंत्रालय के प्रवक्ता के हवाले से बताया कि पहले बंदूकधारियों ने एक हथगोला फेंका जिससे गुरुद्वारे के गेट के पास आग लग गई.

पीएम ने जताई चिंता
इस हमले को लेकर भारत ने कड़ी आपत्ती जताई है.प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अफगानिस्तान की राजधानी काबुल में स्थित गुरुद्वारा कार्ते परवान पर ‘बर्बर’ आतंकवादी हमले की निंदा की. मोदी ने एक ट्वीट में कहा, ‘काबुल में कार्ते परवान गुरुद्वारे पर कायरतापूर्ण आतंकवादी हमले से स्तब्ध हूं. मैं इस बर्बर हमले की निंदा करता हूं और श्रद्धालुओं की सुरक्षा और सलामती के लिए प्रार्थना करता हूं.’

भारत सरकार की नज़र
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने इस ‘कायराना हमले’ की कड़ी निंदा की और कहा कि सरकार घटना के बाद स्थिति पर करीब से नजर रखे हुए है. उन्होंने एक ट्वीट में कहा, ‘गुरुद्वारा कार्ते परवान पर कायरतापूर्ण हमले की कड़े शब्दों में निंदा की जानी चाहिए. हमले की खबर मिलने के बाद से हम घटनाक्रम पर करीब से नजर रखे हुए हैं/ हमारी पहली और सबसे महत्वपूर्ण चिंता समुदाय के कल्याण के लिए है.’

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लगातार देश छोड़ कर भाग रहे हैं सिख
समाचार एजेंसी एपी के मुताबिक 2020 के हमले के समय अफगानिस्तान में 700 से कम सिख और हिंदू थे. तब से, दर्जनों परिवार वहां से भाग गए हैं. लेकिन कई आर्थिक रूप से कमजोर होने के कारण दूसरे देश नहीं जा पाए हैं और वे अफगानिस्तान में ही, खासकर काबुल, जलालाबाद तथा गजनी में रह रहे हैं. सिख समुदाय के नेताओं का अनुमान है कि तालिबान शासित अफगानिस्तान में सिर्फ 140 सिख बचे हैं, जिनमें से ज्यादातर पूर्वी शहर जलालाबाद और राजधानी काबुल में हैं. (भाषा इनपुट के साथ)

Tags: Afghanistan Blast, Kabul, Sikh Community

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