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आरा (भोजपुर)5 घंटे पहले

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भोजपुर के एक मोबाइल यूजर ने उपभोक्ता कोर्ट में टेलीकॉम कंपनी के ऊपर केस दर्ज करा दिया है। यूजर अपने नुकसान की भरपाई की मांग मोबाइल कंपनी से कर रहा है। दरअसल ‘अग्निपथ’ योजना के विरोध के दौरान अफवाह फैलने से रोकने और विधि-व्यवस्था बनाए रखने के इरादे से प्रशासन ने 72 घंटों के लिए इंटरनेट सेवा बंद कर दी थी। बंदी के दौरान यूजर को मिले प्रतिदिन के इंटरनेट पैक का नुकसान हो रहा था।

जानकारी के मुताबिक, चरपोखरी के रहने वाले शंकर प्रकाश नाम के युवक ने चार दिनों का अपना बचा हुआ डाटा एकमुश्त टेलीकॉम कंपनी से पाने के लिए मंगलवार को स्थानीय उपभोक्ता न्यायालय में केस दर्ज कराया है। न्यायालय ने उसके मामले को सुनवाई के लिए स्वीकार कर लिया है।

उसने बताया कि इंटरनेट बंदी का नुकसान उपभोक्ताओं को झेलना पड़ा है। अधिकांश टेलीकॉम कंपनियां प्रीपेड प्लान में प्रतिदिन उपलब्ध कराने वाले डाटा का पैसा पहले ही ले लेती हैं। स्मार्टफोन यूजर प्रतिदिन औसतन एक जीबी डेटा का इस्तेमाल करते हैं। इस तरह उनके डाटा का इस्तेमाल नहीं हो पा रहा था, जिसे वापस देने के लिए केस किया गया है।

20 जिलों में पूरी तरह बंद थी इंटरनेट सेवा

बता दें, केंद्र सरकार की ‘अग्निपथ’ भर्ती योजना को लेकर राज्य में तीन दिनों तक भारी हंगामा हुआ था। पुलिस ने शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए 20 जिलों में इंटरनेट सेवा पर रोक लगा दी थी। इन शहरों में फेसबुक, ट्विटर और वॉट्सऐप तथा इंटरनेट मीडिया पर तस्वीरें, वीडियो या संदेश भेजने पर रोक लगा दी थी। रेलवे, बैंकिंग एवं अन्य सरकारी सेवाएं इससे प्रभावित नहीं थीं। सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने, आगजनी तथा तोड़फोड़ करने के मामले में राज्यभर में अब तक 150 से अधिक प्राथमिकी दर्ज की गई है।

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पुलिस मुख्यालय के अनुसार, सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने, तोड़फोड़ और अफवाह फैलाने वाले लोगों को उकसाने वालों की पहचान की जा रही है। साक्ष्य मिलने पर उनके विरुद्ध भी विधि सम्मत कार्रवाई की जाएगी। वहीं, बक्सर में पुलिस पर हमला करते हुए गाड़ी फूंक देने की घटना की छानबीन में किसी संगठित गिरोह की भूमिका बताई गई थी। उपद्रवियों के बीच नक्सलियों के भी शामिल होने के संकेत मिले थे।

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