e0a4b6e0a58de0a4b0e0a580e0a4b2e0a482e0a495e0a4be e0a495e0a587 e0a4a4e0a4aee0a4bfe0a4b2 e0a4a6e0a4b2e0a58be0a482 e0a495e0a580 e0a485
e0a4b6e0a58de0a4b0e0a580e0a4b2e0a482e0a495e0a4be e0a495e0a587 e0a4a4e0a4aee0a4bfe0a4b2 e0a4a6e0a4b2e0a58be0a482 e0a495e0a580 e0a485 1

कोलंबो: श्रीलंका में तमिल अल्पसंख्यक राजनीतिक दलों के एक समूह ने भारत से आग्रह किया है कि वह नौ प्रांतों में लंबित चुनाव कराने के लिए हस्तक्षेप करे और राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे पर इसके लिए दबाव बनाए. प्रांतीय चुनाव 2018 से किसी कानूनी कठिनाई की वजह से लंबित हैं. अभी सभी नौ प्रांतीय परिषद भंग हैं.

तमिल राजनीतिक दलों के नेताओं ने मंगलवार को श्रीलंका में भारतीय उच्चायुक्त गोपाल बागले से मुलाकात की और नौ प्रांतों में चुनाव कराने के लिए श्रीलंका के राष्ट्रपति पर भारत की ओर से दबाव बनाने की मांग की.

तमिल प्रोग्रेसिव्स फ्रंट के नेता मानो गणेशन ने बुधवार को यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘राष्ट्रपति जनादेश खो चुके हैं. इसलिए जनता की राय जानने के लिए स्थगित प्रांतीय परिषद के चुनाव कराने का यह सबसे सही समय है.’’ उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय को राजपक्षे पर कोई भरोसा नहीं है क्योंकि वह जनता के बीच विश्वसनीयता खो चुके हैं.

श्रीलंका की मुख्य विपक्षी समगी जन बालावेगाया पार्टी के सांसद गणेशन ने कहा, ‘‘राष्ट्रपति कोई चुनाव नहीं कराने वाले और ना ही संसद चुनाव कराने के लिए कुछ कर सकती है. हमने भारतीय उच्चायुक्त से अनुरोध किया है कि स्थगित प्रांतीय परिषद चुनाव कराने के लिए यथासंभव दबाव (राजपक्षे पर) बनाएं.’’ भारत 2018 से लंबित सभी नौ प्रांतों के चुनाव जल्द कराने की वकालत कर रहा है.

Tags: Economic crisis, Sri lanka, World news in hindi

Article Credite: Original Source(, All rights reserve)