
हाइलाइट्स
कर्मचारी अपनी बेसिक सैलरी का 100 फीसदी वीपीएफ खाते में जमा कर सकता है.
नियोक्ता आपके पीएफ खाते में सिर्फ 12 फीसदी का ही योगदान करता रहेगा.
दोनों खातों को मिलाकर एक वित्तवर्ष में सिर्फ 1.5 लाख रुपये पर ही टैक्स छूट है.
नई दिल्ली. जयपुर के रहने वाले राजीव कुमार ने अपनी पढ़ाई पूरी कर हाल में ही जॉब शुरू किया है. राजीव को जितना कौतूहल अपनी पहली सैलरी को लेकर है, उतनी ही उत्सुकता पीएफ खाता खुलवाने भविष्य के लिए बचत शुरू करने की भी है.
राजीव को बताया गया है कि उनकी बेसिक सैलरी का 12 फीसदी काटकर पीएफ खाते में डाला जाएगा, जबकि उनकी कंपनी भी अपनी तरफ से 12 फीसदी का योगदान देगी. इसके बाद से ही राजीव के मन में एक सवाल घूम रहा है कि क्या वे भविष्य के लिए बड़ा फंड बनाना चाहें तो पीएफ में अपना अंशदान बढ़ा सकते हैं और ऐसा करने पर ज्यादा जमा राशि पर कितना ब्याज मिलेगा. राजीव की तरह ही ये सवाल कई नौकरीपेशा के मन में आते होंगे तो आज हम एक्सपर्ट से इस पर पूरी बात जानेंगे.
कर्मचारी अपनी मर्जी से बढ़ा सकते हैं राशि
निवेश सलाहकार जगदीश ठक्कर बताते हैं कि कोई भी कर्मचारी 12 फीसदी की तय सीमा से ज्यादा राशि अपने पीएफ खाते में जमा करा सकता है. इस योजना को वॉल्यूंटरी प्रोविडेंट फंड यानी वीपीएफ कहते हैं. कर्मचारी अपने नियोक्ता को बताकर मासिक सैलरी से पीएफ खाते में अंशदान बढ़ा सकता है. वह चाहे तो अपनी कुल बेसिक सैलरी का 100 फीसदी वीपीएफ खाते में जमा कर सकता है.
कितना मिलेगा ब्याज
वीपीएफ खाते पर भी ईपीएफओ की ओर से पीएफ खाते जितना ही समान ब्याज दिया जाता है. मसलन, अगर आपको अपने पीएफ खाते पर सालाना 8.1 फीसदी ब्याज सरकार दे रही है तो वीपीएफ खाते पर भी इतना ही ब्याज का भुगतान किया जाएगा. हां, एक बात ध्यान रखने वाली है कि वीपीएफ में सिर्फ कर्मचारी अपनी ओर से अंशदान बढ़ा सकता है, यह नियम नियोक्ता पर लागू नहीं होगा और वह आपके पीएफ खाते में सिर्फ 12 फीसदी का ही योगदान करता रहेगा.
वीपीएफ पर टैक्स छूट और फायदे
वॉलेंटरी प्रोविडेंट फंड (VPF) खाते पर भी कर्मचारी भविष्य निधि (EPF) खाते की तरह टैक्स छूट मिलती है, लेकिन दोनों खातों को मिलाकर एक वित्तवर्ष में सिर्फ 1.5 लाख रुपये पर ही आयकर कानून की धारा 80सी के तहत टैक्स छूट ली जा सकती है. EPF और VPF से मिलने वाले पैसे और 5 साल की नौकरी पूरी होने के बाद की जाने वाली निकासी पर टैक्स नहीं लगता है.
इसेक अलावा नौकरी बदलने पर वीपीएफ फंड को भी EPF की तरह ट्रांसफर किया जा सकता है. इस फंड की पूरी रकम केवल रिटायरमेंट पर ही निकाली जा सकती है. 5 साल की नौकरी के बाद इस खाते से आंशिक रकम निकाली जा सकती है. पैसों की निकासी के लिए ऑनलाइन क्लेम की सुविधा भी है.
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Tags: Business news in hindi, Epfo, EPFO account, Investment
FIRST PUBLISHED : July 29, 2022, 07:30 IST
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