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हाइलाइट्स

अनुब्रत मंडल ने तिलपारा बांध पर ठेका दिलाने के लिए मांगे 5 करोड़ रुपये और एक कार
पैसे वापस मांगने पर अनुब्रत मंडल ने दी व्यापारी को ड्रग्स केस में फंसाने की धमकी
मवेशी तस्करी के मामले में फंसे तृणमूल कांग्रेस के बाहुबली नेता अनुब्रत मंडल

कोलकाता. एक मवेशी तस्करी मामले में तृणमूल कांग्रेस के बाहुबली नेता अनुब्रत मंडल की सीबीआई द्वारा जांच की जा रही है. बीरभूम पर राज करने वाले मंडल पर जब से शिकंजा कसा गया है तब से उसका असर घट रहा है. अनुब्रत मंडल के दबदबे को उजागर करने वाली कई कहानियां है. इसकी नई कड़ी में एक व्यवसायी ने News18 को बताया कि कैसे उन्हें एक टेंडर के बदले में टीएमसी नेता को मोटी रिश्वत देने के लिए मजबूर किया गया था.

शुक्रवार की सुबह जब सीबीआई की एक टीम अनुब्रत मंडल की चावल मिल पहुंची, तो उन्हें घुसने से पहले 40 मिनट तक इंतजार करना पड़ा. पांच घंटे से अधिक समय तक व्यापक छापेमारी में मिल के अंदर जांच एजेंसी को पांच महंगी कारें मिलीं. जिनमें से एक पर पश्चिम बंगाल सरकार का स्टिकर लगा था. आगे की जांच से पता चला कि कोई भी कार टीएमसी नेता के नाम पर नहीं थी. पांच गाड़ियों में से एक के मालिक बीरभूम के एक कार डीलर प्रोबीर मंडल हैं. शुरू में हिचकिचाने के बाद उन्होंने News18 को बताया कि कैसे उन्हें टीएमसी नेता को रिश्वत देने के लिए मजबूर किया गया.

प्रोबीर मंडल ने बताया कि 2017 में बीरभूम के तत्कालीन जिला मजिस्ट्रेट ने उन्हें तिलपारा बांध पर काम से जुड़े एक कांट्रैक्ट के लिए एक टेंडर जमा करने के लिए कहा था. व्यवसायी ने ऐसा किया लेकिन डीएम ने उसे बाद में अनुब्रत मंडल से संपर्क करने के लिए कहा. प्रोबीर मंडल ने बताया कि अनुब्रत मंडल ने 5 करोड़ रुपये नकद और एक कार की मांग की. उन्होंने इसके लिए मना कर दिया क्योंकि ये रकम जुटाना संभव नहीं था.

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पंचायत चुनाव का समय था. कुछ दिनों बाद उनसे कहा गया कि वे किश्तों में रकम दे सकते हैं. मार्च 2018 में प्रोबीर मंडल ने उन्हें 1.5 करोड़ रुपये दिए. कुछ दिनों के बाद अनुब्रत ने उनसे कहा कि बची हुई रकम दे दो नहीं तो आदेश जारी नहीं होगा. किसी तरह और 2 करोड़ रुपये इंतजाम  करके अनुब्रत मंडल को दिया गया. कार डीलर अब वर्क परमिट हासिल करने का इंतजार कर रहे थे. लेकिन इस बार टीएमसी नेता की एक नई मांग थी. उन्होंने 46 लाख रुपये की फोर्ड एंडेवर कार मांगी.

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प्रोबीर मंडल ने बताया कि उन्होंने कर्ज लिया, कार खरीदी और अनुब्रत मंडल को दे दी. प्रोबीर मंडल ने कहा कि टीएमसी नेता को अब लगा कि बांध परियोजना लगभग 500 करोड़ रुपये की थी और पहले उसने बहुत कम पैसे मांगे थे. व्यवसायी ने दावा किया कि उससे और 5 करोड़ रुपये की मांग की गई थी. इस बार उसने रिश्वत देने से मना कर दिया. जब अंतिम चालान दिया जाना था, तो काम रोक दिया गया. प्रोबीर मंडल ने अपने पैसे वापस मांगे, तो अनुब्रत मंडल ने धमकी दी कि वह उन पर ड्रग्स का केस कर देगा. अनुब्रत मंडल ने उनसे पूछा कि अपना पैसा वापस चाहिए या जेल? तब से कार और पैसा उसके पास है.  प्रोबीर मंडल ने कहा कि ‘उसकी मर्जी के बगैर पत्ता भी नहीं हिलता, इसलिए हम असहाय हैं.’

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Tags: TMC, TMC Leader

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