
एडिलेड. टी20 विश्व कप सेमीफाइनल में इंग्लैंड के हाथों मिली 10 विकेट की शर्मनाक हार के बाद दुनियाभर के करोड़ों भारतीय क्रिकेट फैंस निराश हैं. कप्तान रोहित शर्मा, रविचंद्रन अश्विन और दिनेश कार्तिक जैसे सीनियर खिलाड़ियों का प्रदर्शन इस टूर्नामेंट निराशाजनक रहा. 11 साल बाद आईसीसी खिताब जीतने का सपना भी इंग्लैंड ने करारी शिकस्त देकर चकनाचूर कर दिया. 169 के लक्ष्य के
जवाब में इंग्लैंड की बटलर और एलेक्स हेल्स की सलामी जोड़ी ने भारतीय गेंदबाजों को जमकर धुनाई की. मैदान के चारों ओर करके हौंसले पस्त कर दिए. बटलर ने 49 गेंद में नौ चौकों और तीन छक्कों की मदद से नाबाद 80 और एलेक्स हेल्स ने 47 गेंद में नाबाद 86 रन की पारी खेली. भारतीय टीम का कोई दांव आज नहीं चला. बल्लेबाजों के फीके प्रदर्शन के बाद गेंदबाजों ने भी निराश किया. भारत की ओर से विराट कोहली ने 40 गेंद में 50 रन बनाए लेकिन आकर्षण पारी हार्दिक पंड्या ने खेली. उन्होंने फिनिशर की भूमिका बखूबी निभाते हुए 33 गेंद में 63 रन बनाकर टीम को 168 रन के सम्मानजनक स्कोर तक पहुंचाया. कप्तान रोहित शर्मा के 3 फैसले भारतीय टीम पर भारी पड़े और भारत को शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा. आइये एक नजर इन फैसलों पर डाल लेते हैं..
1. पावर प्ले में अर्शदीप को पर्याप्त मौका न देना
इंग्लैंड के खिलाफ सेमीफाइनल मुकाबले में रोहित शर्मा की कप्तानी काफी साधारण नजर आई. भारतीय टीम की ओर से गेंदबाजी आक्रमण की शुरुआत हमेशा की तरह भुवनेश्वर कुमार की ओर से की गई. भुवी को इंग्लैंड के सलामी बल्लेबाजों ने टार्गेट किया और जमकर रन कूटे. भुवी पावर प्ले में खासे महंगे साबित हुए. उन्होंने 2 ओवर में 25 रन खर्च कर डाले. कप्तान रोहित शर्मा ने अर्शदीप सिंह से पावर प्ले में एक ओवर डलवाया जिसमें उन्होंने 8 रन दिए थे. अर्शदीप ने बटलर को थोड़ा परेशानी में भी डाला. दुर्भाग्यपूर्ण बात यह रही कि रोहित शर्मा ने फिर पावर प्ले में अर्शदीप से गेंदबाजी नहीं करवाई. कप्तान रोहित का फैसला भारत के लिए काफी महंगा साबित हुआ.
2. अक्षर पटेल पर दांव लगाना भारी पड़ा
लगातार फ्लॉप रहे अक्षर पटेल को सेमीफाइनल में खिलाने का कप्तान रोहित शर्मा का फैसला टीम इंडिया पर बहुत भारी पड़ा. पूरे टूर्नामेंट के दौरान ऑलराउंडर अपना प्रभाव नहीं छोड़ पाए. न तो वह बल्लेबाजी में कमाल दिखा पाए और न ही उनकी गेंदबाजी प्रभावी रही. इंग्लैंड के खिलाफ सेमीफाइनल मुकाबले में अक्षर पटेल ने 4 ओवर में 30 रन लुटाए और कोई सफलता उन्हें नहीं मिली. उन्होंने 5 मैच खेले और सिर्फ 3 विकेट अपने नाम कर पाए. चहल को नहीं खिलाने के फैसले से कई दिग्ग्ज हैरान रह गए. एडिलेड की पिच पर इंग्लैंड के स्पिनर आदिल राशिद और लियाम लिविंगस्टोन को काफी मदद मिली. भारत के पास भी रिस्ट स्पिनर (कलाई का स्पिनर) चहल थे लेकिन कप्तान रोहित शर्मा और हेड कोच राहुल द्रविड ने अक्षर पटेल को वरीयता दी. मैच विनर युवेंद्र चहल पूरे टूर्नामेंट के दौरान बेंच की शोभा बढ़ाते रहे. आज के मैच में इंग्लैंड की ओर से दो स्पिनर खेले थे. निश्चित रूप से चहल को लेकर चूक हो गई, जिसका खामियाजा भुगतना पड़ा.
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3. डिफेंसिव फील्डिंग का इस्तेमाल
मैच की दूसरी पारी में जब भारतीय टीम गेंदबाजी के लिए मैदान पर आई तो शुरू से खिलाड़ी रंग में नजर नहीं आए. कप्तान रोहित शर्मा ने आक्रामक फील्डिंग का इस्तेमाल नहीं किया. रोहित शर्मा की कोशिश रन बचाने की रही लेकिन उसमें आक्रामकता नजर आई. रोहित अपनी कप्तानी के जरिये टीम में जोश नहीं भर पाए. उनकी प्रेरित न करने वाली कप्तानी हार की बड़ी वजह बनी. भारतीय टीम ने थोड़ा भी आक्रामकता दिखाई होती तो मैच का परिणाम कुछ और हो सकता था. इसके उलट इंग्लैंड के गेंदबाजों और बल्लेबाजों ने शुरू ही हमला बोला और मैच जीत लिया.
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Tags: India vs Engalnd, Rohit sharma, T20 World Cup 2022, Yuzvendra Chahal
FIRST PUBLISHED : November 10, 2022, 22:41 IST
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